मनरेगा के पूल एकाउंट में है 218 करोड़,लेकिन 5 करोड़ का नही किया जा रहा भुगतान ! बीडीओ नही दे रहे रिपोर्ट

लखनऊ। मनरेगा योजना सीतापुर में भी अफसरों का खेल गजब का है। यहां लाभार्थी का पैसा हो या मटेरियल का। यह पूछे जाने पर सदैव यह कहा जाता है की अभी पैसा नहीं आया है जब आएगा तो भेज देंगे लेकिन असलियत क्या है आज इस बात का खुलासा कर रहा है न्यूज़ 9।

मामला उत्तर प्रदेश के सीतापुर जनपद का है। जहां मनरेगा योजना के अंतर्गत वित्तीय वर्ष 2013-2014 से 2019-2020 तक यदि जनपद के मैटेरियल भुगतान की बात करें तो जनपद स्तर पर करीब 5 करोड़ रुपए मैटेरियल का पैसा बकाया है जो कि अभी भी पेंडिंग है।

यानी 2013-14 से लेकर 2019-2020 तक मनरेगा योजना के अंतर्गत जनपद स्तर में जो भी पक्के काम हुए उसमें पक्के कामों के मटेरियल का भुगतान ब्लाकों के खंड विकास अधिकारियों ने नहीं किया।

जबकि वर्तमान की बात करें तो मनरेगा वेबसाइट पर निकाली गई डिटेल में साफ तौर पर प्रदर्शित हो रहा है कि वर्तमान में मनरेगा के पूल अकाउंट में 218 करोड रुपए पड़े हुए हैं लेकिन कोई भुगतान जनपद के खंड विकास अधिकारियों के द्वारा नहीं किया गया।

शासनादेश की यदि बात करें तो आगामी 20 जुलाई तक शासन स्तर से यह कहा गया है कि पेंडिंग भुगतान को जल्द से जल्द निपटा दिया जाए लेकिन 20 जुलाई आने में अभी 4 दिन शेष बचे हैं अभी तक इस पर कोई भी कार्रवाई नहीं हुई है।

भुगतान न करने कि क्या है वजह

सूत्रों की माने तो बकाया भुगतान न करने पर भी एक दिलचस्प बात छुपी हुई है यह सारा बकाया भुगतान 2013-2014 से लेकर 2019 -2020 तक का है। यानी ब्लाकों में उस वक्त तैनात खंड विकास अधिकारियों के द्वारा कराए गए कार्यों का है।

जिस पर सूत्रों की माने तो तत्कालीन खंड विकास अधिकारियों ने कई प्रतिशत दक्षिणा ले ली थी लेकिन पैसा ना होने के कारण भुगतान ना हो सका। जिसकी वजह से वर्तमान में तैनात खंड विकास अधिकारियों द्वारा कोई सेटिंग गेटिंग ना बन पाने के कारण कोई भी भुगतान खंड विकास अधिकारियों के द्वारा नहीं किया जा रहा है और आज तक ना ही इसके लिए कोई रिपोर्ट जिले पर भेजी है।

क्या कह रहे हैं खंड विकास अधिकारी ?

इस मामले में खंड विकास अधिकारियों का कहना है कि बकाया जो भी भुगतान है उसका कार्य जनपद के ब्लाकों में कराया ही नहीं गया केवल फीडिंग कराई गई।

जिसकी वजह से भुगतान नहीं किया गया इसको लेकर रिपोर्ट जनपद स्तर पर भेजनी है और वह जल्द भेज दी जाएगी लेकिन 4 दिन से शेष रहने के कारण भी अभी तक किसी भी खंड विकास अधिकारी के द्वारा रिपोर्ट प्रेषित नहीं की गई ।

क्या कहना है उपायुक्त मनरेगा एवं सीडीओ सीतापुर का ?

वहीं इस मामले में उपायुक्त मनरेगा सुशील कुमार श्रीवास्तव का कहना है कि जल्द से जल्द भुगतान करने के लिए सभी खंड विकास अधिकारियों को निर्देश दिए जा चुके हैं आज वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से भी निर्देश सीडीओ साहब देंगे यदि कार्य नहीं हुआ है तो उसकी रिपोर्ट आनी चाहिए। रिपोर्ट क्यों नहीं आई है इस पर उनका कहना था कि रिपोर्ट को मंगवाया जाएगा 20 तारीख से पहले।
वहीं इस मामले में सीडीओ सीतापुर का कहना है कि इस मामले में डीसी मनरेगा से बात करिए। पेमेंट उन्हीं को करना है पेमेंट वही कराएंगे जल्द से जल्द पुराने भुगतान किए जाएंगे

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