बरेली हिंसा पर सियासी हलचल: कांग्रेस व सपा नेताओं को पुलिस ने घर में नजरबंद किया

बरेली/ “आई लव मोहम्मद” पोस्टर विवाद से उपजे बरेली हिंसा मामले ने अब राजनीतिक रंग ले लिया है। हालात बिगड़ने की आशंका को देखते हुए पुलिस ने बुधवार (1 अक्टूबर) को कांग्रेस सांसद इमरान मसूद, सपा एमएलसी शाहनवाज खान और कांग्रेस नेता दानिश अली को हाउस अरेस्ट कर दिया।
बरेली रवाना होने से पहले ही घेराबंदी
कांग्रेस सांसद इमरान मसूद और सपा नेता शाहनवाज खान बुधवार सुबह ट्रेन से बरेली जाने की तैयारी में थे। लेकिन उनके निकलने से पहले ही पुलिस बल दोनों नेताओं के घरों पर तैनात कर दिया गया और उन्हें बाहर निकलने से रोक दिया गया।
इसी तरह अमरोहा में पूर्व सांसद दानिश अली के घर के बाहर भी सुबह से ही पुलिस और बैरिकेडिंग कर दी गई। प्रशासन को सूचना थी कि वह भी बरेली पहुंच सकते हैं।
कांग्रेस सांसद का आरोप
नजरबंद किए जाने के बाद इमरान मसूद ने सरकार पर निशाना साधते हुए कहा,
- “बरेली में एकतरफा कार्रवाई हो रही है। हम सिर्फ अधिकारियों से मिलना चाहते थे, लेकिन हमें रोका गया।”
- “फतेहपुर की मजार पर अराजकता हुई, वहां कोई कार्रवाई नहीं की गई।”
- “हम नफरत नहीं, मोहब्बत की राजनीति करते हैं। पोस्टर की हिमायत नहीं करते, लेकिन सरकार बुलडोजर की आड़ में मुसलमानों को निशाना बना रही है।”
योगी सरकार पर सवाल
इमरान मसूद ने कहा कि 2027 के चुनाव को देखते हुए मुसलमानों पर दबाव बनाया जा रहा है। उन्होंने कहा, “इस्लाम मोहब्बत का नाम है, लेकिन आप नफरत फैला रहे हैं। हमारे लिए संविधान सबसे बड़ा है और योगी आदित्यनाथ सबके मुख्यमंत्री हैं। मस्जिदें इबादत के लिए हैं, प्रदर्शन के लिए नहीं।”
पुलिस का रुख
पुलिस प्रशासन का कहना है कि यह कदम शांति बनाए रखने और हिंसा की आशंका को रोकने के लिए उठाया गया है। अधिकारियों ने बताया कि नेताओं के बरेली पहुंचने से हालात और बिगड़ सकते थे।