‘अटल’ की समुद्र में एंट्री: स्वदेशी तेज गश्ती जहाज से मजबूत होगी तटीय सुरक्षा

पणजी, गोवा | भारत की समुद्री सुरक्षा को नया बल देते हुए गोवा शिपयार्ड लिमिटेड (GSL) ने भारतीय तटरक्षक बल (Indian Coast Guard) के लिए बनाए जा रहे आठ फास्ट पेट्रोल वेसल्स (FPVs) में से पांचवें जहाज ‘अटल’ (ATAL) को आज सफलतापूर्वक लॉन्च किया। यह जहाज पूरी तरह स्वदेशी तकनीक से डिजाइन और निर्मित किया गया है।
शानदार लॉन्चिंग सेरेमनी
गोवा में हुए भव्य समारोह में शिल्पा अग्रवाल ने ‘अटल’ को औपचारिक रूप से लॉन्च किया। इस मौके पर रोजी अग्रवाल (IDAS, PIFA) और आईसीजी के वरिष्ठ अधिकारी, जैसे आईजी सुधीर साहनी भी मौजूद रहे। यह लॉन्चिंग भारत की डिफेंस प्रोडक्शन में आत्मनिर्भरता को दर्शाने वाला एक बड़ा कदम माना जा रहा है।
ATAL की प्रमुख खूबियां:
- पूरी तरह स्वदेशी डिजाइन और निर्माण
- लंबाई: 52 मीटर, चौड़ाई: 8 मीटर, वजन: 320 टन
- आधुनिक नेविगेशन और निगरानी उपकरणों से लैस
- समुद्र में तेज गश्त के लिए विशेष रूप से तैयार
- खोज और बचाव (Search & Rescue), तस्करी-रोधी, समुद्री डकैती-रोधी, और मत्स्य संरक्षण मिशनों के लिए उपयुक्त
समुद्री सुरक्षा को नई धार
‘अटल’ जैसे गश्ती जहाज भारतीय तटरक्षक बल को द्वीपों, अपतटीय परिसंपत्तियों और विशेष आर्थिक क्षेत्र (EEZ) की सुरक्षा में मदद करेंगे। ये जहाज देश की तटीय सीमा पर निगरानी और नियंत्रण को और मजबूत बनाएंगे।
रोजगार और MSMEs को बढ़ावा
इस परियोजना ने न केवल स्थानीय उद्योगों और MSMEs को जोड़ा है, बल्कि निर्माण के दौरान सैकड़ों लोगों को रोजगार भी दिया। यह ‘मेक इन इंडिया’ अभियान को मजबूती देता है।
“अटल” बना आत्मनिर्भर भारत की नई पहचान
इस अवसर पर मुख्य अतिथि रोजी अग्रवाल ने कहा, “ATAL जैसे प्रोजेक्ट भारत की डिफेंस इंडस्ट्री की ताकत और क्षमता का प्रमाण हैं। स्वदेशी निर्माण से जुड़ी हर सफलता हमें आत्मनिर्भरता की ओर एक कदम और आगे ले जाती है।”