पटना के पारस अस्पताल में ICU में घुसकर कैदी की हत्या, नीतीश सरकार पर विपक्ष का हमला

पटना — बिहार की राजधानी पटना के प्रमुख निजी अस्पताल पारस हॉस्पिटल में गुरुवार को उस वक्त अफरातफरी मच गई जब बेऊर जेल में बंद कैदी चंदन मिश्रा को इलाज के दौरान गोली मार दी गई। बताया जा रहा है कि अपराधी अस्पताल में घुसकर ICU के भीतर घुसे और फायरिंग कर दी। चंदन मिश्रा पर केशरी नामक व्यक्ति की हत्या का आरोप था और वह पैरोल पर इलाज के लिए अस्पताल में भर्ती था।
चश्मदीदों ने क्या बताया?
घटना के समय अस्पताल में मौजूद मरीजों और उनके परिजनों में दहशत फैल गई। एक चश्मदीद अमित कुमार ने बताया:
“हम अस्पताल के बाहर खड़े थे तभी कुछ लोग तेजी से अंदर घुसे। कुछ देर में गोली चलने की आवाज़ आई और भगदड़ मच गई। थोड़ी देर में पुलिस और मीडिया भी पहुँच गई।”
पुलिस का बयान
पटना के एसएसपी कार्तिकेय शर्मा ने बताया कि चंदन मिश्रा पर हमला विरोधी गैंग द्वारा किया गया। उन्होंने कहा:
“पोस्टमार्टम रिपोर्ट से स्पष्ट होगा कि कितनी गोलियां लगी हैं। घटनास्थल से कई राउंड फायरिंग की पुष्टि हुई है। हमलावरों की तलाश जारी है।”
तेजस्वी यादव का तीखा हमला
घटना के बाद बिहार की राजनीति में भी उबाल आ गया है। राजद नेता और पूर्व उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X (पूर्व में ट्विटर) पर नीतीश सरकार को घेरते हुए लिखा:
“सरकारी अपराधियों ने अस्पताल में भर्ती मरीज को ICU में घुसकर मारी गोली। बिहार में कोई भी कहीं भी सुरक्षित नहीं? 2005 से पहले ऐसे होता था जी?”
पहले भी उठ चुके हैं सवाल
बिहार की क़ानून व्यवस्था पहले से ही सवालों के घेरे में है। कुछ दिन पहले ही पटना के बड़े कारोबारी गोपाल खेमका की गांधी मैदान के पास उनके घर के बाहर ही गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। उस घटना में भी पटना पुलिस की भूमिका और सुरक्षा व्यवस्था पर गंभीर सवाल उठे थे।
क्या कहता है यह मामला?
पारस अस्पताल जैसी सुरक्षित मानी जाने वाली जगह पर ICU में घुसकर गोलीबारी होना बिहार में गुंडागर्दी और पुलिस-प्रशासन की नाकामी को दर्शाता है। यह घटना सिर्फ एक व्यक्ति की हत्या नहीं, बल्कि पूरे सिस्टम की नाकामी का उदाहरण बन गई है।